हार के बावजूद श्रीकांत का प्रदर्शन प्रेरणादायक रहा। उन्होंने इस महीने की शुरुआत में दुनिया में 82वें नंबर पर खिसकने के बाद, दुनिया को अपनी क्षमता की याद दिलाने के लिए धैर्य और क्लास दिखाया। फिलहाल वह 65वें स्थान पर हैं।
भारत के किदांबी श्रीकांत रविवार को मलयेशिया मास्टर्स सुपर 500 बैडमिंटन टूर्नामेंट के फाइनल में हार मिली और वह उपविजेता रहे। उन्हें पुरुष एकल फाइनल में चीन के विश्व के चौथे नंबर के खिलाड़ी ली शी फेंग से सीधे गेम में हार का सामना करना पड़ा।
चोट की वजह से हाल फिलहाल में कई अवसर गंवाने के बाद श्रीकांत ने मलयेशिया मास्टर्स में जबरदस्त वापसी की। इस 32 वर्षीय खिलाड़ी ने छह साल में पहली बार किसी बीडब्ल्यूएफ वर्ल्ड टूर फाइनल में जगह बनाई। उन्होंने क्वालिफायर से शुरुआत की और खिताबी मुकाबले तक शानदार प्रदर्शन किया। हालांकि, पूर्व विश्व नंबर एक खिलाड़ी का प्रदर्शन अनियमित रहा और वह दूसरे वरीय ली के मजबूत डिफेंस को भेदने में संघर्ष करते रहे। वह मौके भुनाने में भी असफल रहे और आखिरकार 36 मिनट में 11-21, 9-21 से हार गए।
हार के बावजूद श्रीकांत का प्रदर्शन प्रेरणादायक रहा। उन्होंने इस महीने की शुरुआत में दुनिया में 82वें नंबर पर खिसकने के बाद, दुनिया को अपनी क्षमता की याद दिलाने के लिए धैर्य और क्लास दिखाया। श्रीकांत पिछली बार 2019 इंडिया ओपन में BWF वर्ल्ड टूर के फाइनल में पहुंचे थे, जहां वे उपविजेता भी रहे थे। वे 2021 विश्व चैंपियनशिप में रजत पदक विजेता भी रहे। श्रीकांत 2017 में चार बीडब्लयूएफ खिताब जीतने वाले पहले भारतीय बने थे और फिर उन्होंने भारत को टीम स्पर्धा में राष्ट्रमंडल खेलों का पहला स्वर्ण पदक दिलाया, लेकिन उसके तुरंत बाद उनका संघर्ष शुरू हो गया।। पूर्व विश्व नंबर एक खिलाड़ी श्रीकांत पिछले कुछ सत्र में खराब फॉर्म और फिटनेस के दौर से गुजर रहे हैं जिससे अब वह विश्व रैंकिंग में 65वें स्थान पर मौजूद हैं।
मलयेशिया मास्टर में श्रीकांत का सफर
इससे पहले श्रीकांत ने सटीक नेट प्ले और आक्रामक खेल की बदौलत सेमीफाइनल में दुनिया के 23वें नंबर के खिलाड़ी टनाका को 21-18, 24-22 से शिकस्त दी थी। वहीं, क्वार्टर फाइनल में उन्होंने अपने से ऊंची रैंकिंग के फ्रांस के टोमा जूनियर पोपोव पर तीन गेम में जीत दर्ज कर अंतिम चार का टिकट कटाया था। 65वीं रैंकिंग पर काबिज श्रीकांत ने क्वार्टर फाइनल में दुनिया के 18वें नंबर के पोपोव को कड़ी टक्कर देते हुए एक घंटे 14 मिनट में 24-22, 17-21, 22-20 से शिकस्त दी। उससे पहले श्रीकांत ने दुनिया के 33वें नंबर के खिलाड़ी गुयेन के खिलाफ प्री-क्वार्टर फाइनल में 59 मिनट तक चले मुकाबले में 23-21, 21-17 से जीत हासिल की थी। वहीं, मुख्य ड्रॉ में जगह बनाने के लिए श्रीकांत ने चीनी ताइपे के हुआंग यू काई को 9-21, 21-12, 21-6 से हराया था।